नीम करोली बाबा कैची धाम आश्रम – पूरी जानकारी

Neem Karo Baba Kaichi Dham एक ऐसे प्रशिद्ध और विश्व विख्यात बाबा हैं। जिनके पास दुनिया की सबसे बड़ी स्मार्टफोन निर्माता कंपनी Apple के CEO स्टीव जॉब्स से लेकर Facebook के मालिक मार्क ज़ुकरबर्ग आ चुके हैं। इसके अलावा हॉलीवुड अभिनेत्री जूलिया रोबर्ट भी बाबा के परम भक्तों में से एक है।

आपको बता दें नीम करोली बाबा किस्मत बनाने वाले बाबा के नाम से भी दुनियाभर में विख्यात हैं। क्यूंकि इन्होने स्टीव जॉब्स और मार्क ज़ुकरबर्ग जैसे दिग्गजों जैसे न जाने कितने ही भक्तों की किस्मत को बदल चुके हैं। इस लेख में नीम करोली बाबा से जड़े ऐसे कई जानकारियां आपसे साझा की गयी है जिससे आप अबतक अनजान थे।

नीम करोली बाबा एक नज़र में

असली नामलक्ष्मण नारायण शर्मा
पुकारू नामनीम करोली बाबा, लक्ष्मण दस, हांडी वाले बाबा, तिकोनिया वाला बाबा, तल्लैया बाबा, चमत्कारी बाबा
जन्म स्थलअकबरपुर, फ़िरोज़ाबाद – उत्तर प्रदेश
जन्म तिथिवर्ष 1900
देह त्याग11 सितम्बर 1973
समाधी स्थलवृन्दावन धाम
प्रमुख मंदिर/आश्रमकैची धाम, नैनीताल और वृन्दावन

नीम करोली बाबा कौन है? – Neem Karoli Baba in Hindi

नीम करोली बाबा उर्फ़ लक्ष्मण नारायण शर्मा जी का का जन्म वर्ष 1900 में उत्तर प्रदेश के फ़िरोज़ाबाद जिले के अकबरपुर में एक धनवान ब्राह्मण परिवार में हुआ था। मात्र 11 साल की छोटी सी उम्र में शादी किये जाने के पश्चात लक्ष्मण नारायण जी अपने घर-बार त्याग कर साधु बनने के लिए निकल पड़े।

अपने पिताजी द्वारा काफी समझाने के बाद ये अपने सांसारिक जीवन में वापस लौट आये। लेकिन साल 1958 में ये दुबारा सांसारिक सुखों को छोड़कर वापस जंगलो की और चल पड़े।

ऐसी मान्यता है की इस यात्रा के दौरान बाबाजी बगैर टिकट लिए ही ट्रैन पर चढ़ गए थे। जिसके बाद TT द्वारा इन्हे उत्तर प्रदेश के फरुक्काबाद जिले के नीम करोली नमक स्थान पर ट्रैन से जबरदस्ती उतार दिया जाता है। लेकिन ट्रैन से उतार दिए जाने के पश्चात काफी कोशिशों के बाद भी ट्रैन दुबारा से चल नहीं पाती।

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जिसके तुरंत बाद लोगों के कहने पर बाबा को वापस ट्रैन में चढ़ा लिया जाता है। लेकिन बाबा द्वारा दो शर्ते रखी जाती है की ‘पहला: ये ट्रैन आगे तभी बढ़ेगी जब नीम करोली नामक इस स्थान पर रेलवे द्वारा एक Station का निर्माण कराया जाएगा’ और ‘दूसरा: रेलवे द्वारा साधू और संतों से अच्छा व्यवहार किया जाये।’

रेलवे द्वारा शर्तों को मान लेने के बाद बाबा जी आशीर्वाद से ट्रैन दुबारा चलने लगती है। कुछ समय पश्चात रेलवे द्वारा नीम करोली नमक स्थान पर एक स्टेशन बनवाया जाता है। जहाँ कुछ समय के लिए बाबा समय भी बिताते हैं और यही से इन्हे लोग नीम करोली बाबा के नाम से जाने जाने लगते हैं।

इसके बाद बाबाजी उत्तरी भारत के भ्रमण पर निकल जाते हैं। जहां पर इन्हे अलग-अलग नमो से ख्याति मिलती है जैसे: लक्ष्मण दस, हांडी वाले बाबा, तिकोनिया वाला बाबा, तल्लैया बाबा, चमत्कारी बाबा इत्यादि। इनके जीवित रहने के दौरान दो आश्रम का निर्माण कराया गया: पहला कैची धाम में और दूसरा वृन्दावन में।

कैची धाम नीम करोली बाबा का इतिहास

दरअसल ये बात साल 1962 की है, जब नीम करोली बाबा पहली बार उत्तराखंड के नैनीताल के पास स्तिथ एक छोटे से कैची नामक कस्बे में पहुंचे थे। 1962 के दौरान कैची कसबे में केवल 15 से 20 स्थानीय लोगों के घर हुआ करते थे। नीम करोली बाबा ने यहां पहुंचकर सोमवारी बाबा और बाकि अन्य साधू संतों द्वारा बनाये गए हवन कुंड और उनके तपस्या स्थल के साथ की उनकी गुफाओं की खोज की।

नीम करोली बाबा ने आगे चलकर कैची कस्बे में रहने वाले लोगों से बात करके यहां एक हनुमान जी की मंदिर बनवाई। धीरे-धीरे

नीम करोली बाबा से जुड़े रोचक तथ्य – Neem Karoli baba Facts

नीम करोली बाबा से जुड़े ऐसे कई रोचक तथ्य हैं, जिससे आज भी उनके कई सारे भक्त अनजान हैं। उनमे से कुछ इस प्रकार है :

  • नीम करोली बाबा के भक्त के केवल भारत ही नहीं बल्कि अमेरिका, ब्रिटैन जैसे देशों में भी हैं।
  • बाबा से मिलने मात्र से ही अमेरिकी गणितज्ञ रोबर्ट एल्पेर्ट, हिन्दू धर्म को अपनाकर संत बने और फिर रामदास के नामसे इन्हे काफी प्रसिद्धि मिली।
  • 1973 में पहली बार Apple के संस्थापक स्टीव जॉब्स भारत आये और बाबा के दर्शन किये।
  • जब मार्क ज़ुकरबर्ग की कंपनी Facebook पर ख़तरा मंडराने लगा तब ये भी बाबा के सरन में आये और सफलता की नयी ऊंचाइयों को छूने लगे।
  • भारत के मशहूर क्रिकेटर विराट कोहली अपनी पत्नी के साथ नीम करोली बाबा के दर्शन करने अक्सर जाते हैं।

Neem Karoli Baba Kaichi Dham Nainital कैसे जाये?

नीम करोरी बाबा कैची धाम उत्तराखंड के नैनीताल में स्तिथि है। अगर आप देश के किसी भी कोने में से यहां आना चाहते हो तब आप देश की राजधानी दिल्ली होकर यहाँ तक आसानी से पहुंच सकते हो। इसके अलावा अगर आप किसी दूसरे देश से कैची धाम जाना चाहते हो तब आप दिल्ली अंतरास्ट्रीय हवाई अड्डे तक हवाई यात्रा करके आ सकते हो।

दिल्ली से नैनीताल पहुंचने के तीन साधन है पहला ट्रैन, दूसरा बस और तीसरा प्राइवेट टैक्सी। टदिल्ली से कैची धाम जाने के लिए आप काठगोदाम तक जाने वाली ट्रैन से काठगोदाम तक का सफर कर सकते हैं। इसके बाद प्राइवेट टैक्सी के माध्यम से कैची धाम पहुंचा जा सकता है।

इसके अलावा दिल्ली से नैनीताल वाली बस के माध्यम से कैची धाम जाया जा सकता है। वर्ण आप प्राइवेट टैक्सी दिल्ली से बुक करके भी यहां तक आसानी से पहुंच सकते हो।

Neem Karoli Baba Kaichi Dham से जुडी कुछ महत्वपूर्ण तथ्य

  • नीम करोली बाबा का पूरा नाम क्या है? – लक्ष्मण नारायण शर्मा
  • नीम करोली बाबा इतना प्रसिद्ध क्यों है? – ऐसी मान्यता है की नीम करोली बाबा को केवल 17 साल की उम्र में ईश्वर का ज्ञान चुका था। नीम करोरी बाबा हनुमान जी को अपने गुरु मानते थे और अपने जीवन काल में इन्होने 108 हनुमान मंदिरों का निर्माण कराया था।
  • बाबा नीम करौली की मृत्यु कब हुई? – नीम करोरी बाबा की मृत्यु 11 सितम्बर 1973 को रात के 1:15 मिनट पर वृन्दावन के एक अस्पताल में हुई थी।
  • कैंची धाम कब जाना चाहिए? – वैसे तो नीम करोरी बाबा कैची धाम आप सालभर में किसी भी समय अपनी इक्षा अनुसार जा सकते हैं। लेकिन प्रत्येक वर्ष 15 जून को यहां विशेष मेले का आयोजन किया जाता है। जिसमे भारी संख्या में श्रद्धालु मौजूद होते हैं।

अंतिम शब्द

इस लेख के माध्यम से आपने जाना की कैची धाम क्या है और नीम करोली बाबा कौन है? साथ ही आपने इससे जुड़ी रोचक तथ्यों को भी जाना। इस लेख से संबंधित किसी प्रकार का कोई सवाल, सुझाव या शिकायत आपके पास हो तब निचे कमेंट करके हमें जरूर बतलायें।

FAQs

Q: कैंची धाम कहा है?

उत्तर: कैची धाम नैनीताल में स्तिथि है।

Q: कैंची धाम कैसे पहुंचे?

उत्तर: कैची धाम जाने के लिए आप सबसे नजदीकी स्थान नैनीताल जा सकते हैं। नैनीताल से प्राइवेट टैक्सी के माध्यम से कैची धाम बड़ी ही आसानी से पंहुचा जा सकता है।

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