स्टार्टअप क्या है और कैसे शुरू करें?

आज के इस नये दौर में आपने देखा होगा या कही सुना होगा कि स्टार्टअप को लेकर बड़ी चर्चाएं है। क्योंकि देश की इतनी बड़ी आबादी में सबको नौकरी मिल जाए ये संभव नहीं।अगर कोई इंसान नौकरी पाने में सफल भी हो जाता है, तब उसके लिए सबसे बड़ी समस्या तो तब सामने आती है जो वो अपनी तनख्वा के बारे में सोचता है।

यही कारण है की ऐसे में लोग नौकरी के अलावा अब खुद का बिज़नेस अथवा स्टार्टअप पर काम करना चाहते है।लेकिन वर्तमान हालात में बिज़नेस या किसी स्टार्टअप की शुरुआत करना उतना भी आसान नहीं है। इसमें भी कई सारी मुश्किलें और परेशानियां लोगों को झेलनी पड़ती है।

अगर आप एक स्टार्टअप की शुरआत करना चाहते हैं, तब इस लेख के माध्यम से आप जानेंगे की स्टार्टअप क्या है और इसकी शुरुआत कैसे करें। साथ ही आपको स्टार्टअप या बिज़नेस से जुड़ी बाकि अन्य जानकारियां जैसे पेटेंट का मतलब क्या होता है? जैसी जानकारियां भी मिलेंगी।

स्टार्टअप क्या होता है?

स्टार्टअप का अर्थ होता है: एक या एक से ज्यादा लोगो द्वारा स्तापित कि गयी कंपनी और इस कंपनी का उदेश्य शुरूआती दिनों में लोगो की समस्याओं को हल करना होता है। आगे चलकर ऐसी ही कंपनियां एक बड़ी कारोबारी कंपनी में बदल जाती है।

स्टार्टअप शब्द में ही उसका मतलब छुपा हुआ है, जिसमे “Start” का अर्थ है “शुरू (स्टार्ट) करना” और “Startup” शब्द मतलब किसी चीज को “शुरू करके चलाना” होता है।  

आसान भाषा में बात करें तो एक ऐसा बिज़नेस या कंपनी जिसका उद्देश्य लोगों की सेवा करने के साथ ही उनकी जरूरतों को पूरा कर खुद के लिए मुनाफा कमाना। यहां धयान रखने वाली बात ये है की किसी भी स्टार्टअप को शुरू करना आसान है लेकिन ये लम्बी रेस का घोडा तब तक नहीं बन सकता जब तक की आपका आईडिया बाकि सबसे से बिल्कुल अलग और हटकर न हो।

मिलता जुलता लेख: आज और कल बैंक खुला है या बंद है?

स्टार्टअप कैसे शुरू करें?

किसी भी बिज़नेस की शुरुआत एक सिलसिले वार तरीके से ही किया जा सकता है। जो कुछ इस प्रकार है:

1. स्टार्टअप का आईडिया कैसे मिलेगा?

आसान सी शब्दों में अगर बात की जाए तो सबसे अच्छा आईडिया वही होता है जिसमे लोगों की समस्याऐं छुपी हो और आप उस समस्या ढूंढ कर लोगों के लिए काम करना शुरू कर दें। ऐसी किसी समस्या को पता करने का सबसे आसान तरीका है की आप इसे अपने घर से ही ढूंढ़ने की शुरुआत करें।

उसके बाद धीरे-धीरे आस-पास के माहौल का अवलोकन करें। ऐसे में आपको कहीं न कहीं कोई ऐसी समस्या अवश्य मिलेंगी जो आपके स्टार्टअप का कारण बनेगी।

2. स्टार्टअप का नाम कैसे चुने?

स्टार्टअप का आईडिया मिल जाने के बाद सबसे बड़ी समस्या जो हमारे सामने आती है, वो है इसका नाम? आखिर अपने बिज़नेस का नाम क्या रखें? नाम को सुनिश्चित करने के लिए निचे दिए गए टिप्स पर अमल कर सकते हैं:

  • नाम ऐसा होना चाहिए जो एक बार में याद रहे और लोगों का ध्यान अपनी और आकर्षित करें।
  • नाम से ही आपके स्टार्टअप की जानकारी लोगों को मिल जानी चाहिए।
  • नाम सोचते समय उसमे आपके कंपनी के काम का शब्द होना चाहिए. 
  • हमेशा कोशिश करें की बिज़नेस नाम अधिकतम 9 से 10 अक्षरों तक आ जाए।

3. अपने स्टार्टअप आयडियाज को रजिस्टर अथवा पेटेंट कराएं

स्टार्टअप आयडिया को रजिस्टर अथवा पेटेंट करना ये बहुत ही महत्वपूर्ण चरण होता है। ये चरण अगर आपने पूरा नहीं किया तो आपका स्टार्टअप आयडिया कोई और चुरा सकता है या फिर आने वाले समय में आपको बड़ी समस्या से सामना करना पड़ सकते है।

यहां ध्यान रखने वाली बात ये है की अपने आईडिया को कभी भी किसी से तब तक साझा न करें। जब तक की आप उसका पेटेंट नहीं करवा लेते।

स्टार्टअप पेटेंट करवाने का फायदा  

  • आपका आईडिया केवल आप तक ही सिमित रहेगा।
  • हूबहू आपके आईडिया पर कोई और काम नहीं कर सकता।
  • आपके आईडिया चोरी होने से बच जाएंगे।
  • अगर कोई आपके आईडिया को चुरा कर काम करता है, तब उसके खिलाफ कोर्ट में जाने का अधिकार आपके पास सुरक्षित रहता है।

4. बिजनेस प्लान बनाना 

बिज़नेस के आईडिया से लेकर उसका नाम तय करना और इसे पेटेंट करवाने तक 30 फीसदी काम तो पूरा हो जाता है। लेकिन असली मुद्दा तो ये है की आपका आईडिया आगे बढ़ेगा कैसे? अर्थात आने वाले समय में इसपर कैसे काम किया जाए ये ज़्यादा महत्वपूर्ण है। इसके लिए बिज़नेस प्लान करना और उसपर अमल करना काफी चुनौतीपूर्ण काम होता है।

मिलता जुलता लेख: स्टार्टअप के फायदे और नुकसान

किसी भी स्टार्टअप के बिज़नेस प्लान में ये तक करना होता है की आपके द्वारा दिया जा रहा सर्विस या प्रोडक्ट की डिमांड बाजार में कितनी है। क्या आपका प्रोडक्ट या सर्विस लोगों की जरूरतों को पूरा कर पाएगा? भविष्य में आपके स्टार्टअप से जुडी आपको किन-किन समस्याओं का समाना करना पड़ सकता है।

कंपनी के वित्तीय जरूरतों को कैसे पूरा किया जाएगा अर्थात फंडिंग की क्या व्यवस्था होनी चाहिए? शुरूआती दिनों में किस तरह से मार्केटिंग करने की जरूरत पड़ेगी? किसी भी बिज़नेस प्लान को बनाने में आप किसी चार्टेड अक्कोउन्तेन्त की भी मदद ले सकते हैं।

5. अपनी टीम बनाना 

अगर आप ये सोच रखकर अपने बिज़नेस की शुरुआत करते हो की, आप अकेले ही अपने स्टार्टअप को संभाल लोगे। तब आपको अपनी सोच को बदल लेनी चाहिए। कहीं न कहीं किसी मोड़ पर आगे चलकर आपको एक टीम की जरूरत जरूर पड़ेगी। जो आपके मौजूदगी या गैर-मौजूदगी में भी आपके काम को करती रहे।

किसी भी हालात में आपका साथ दे और आपको सुझाव दे। टीम में केवल वैसे ही लोगों को शामिल करें, जो ईमानदार हो, काम के प्रति सजग हो, समझदार हो और सबसे महत्वपूर्ण बात जो आपकी सोच को समझता हो।

6. अपने बिजनेस के लिए निवेशक खोजना 

कोई भी काम की शुरुआत बगै निवेश के संभव नहीं है। ज़्यादातर स्टार्टअप आईडिया आज भी निवेश या कहें पैसों की कमी के कारण ही अधूरे रह जाते हैं। सरकारके अलावा आज देश में ऐसी कई साड़ी संस्था और कंपनी है जो आपके आईडिया पर पैसे लगाने से बिल्कुल नहीं कतराती। इसके अलावा बैंक भी एक अच्छा माध्यम है शुरूआती फंड इक्कठा करने का।

7. अपने प्रोडक्ट/सर्विस की मार्केटिंग करें

कितनी भी अच्छी स्टार्टअप क्यों न हो और चाहे कितने भी पैसे इसमें निवेश किये गए हो, कोई बिज़नेस तब तक अस्तित्व में नहीं आता, जब तक लोगों को उसके प्रोडक्ट या सर्विस की जानकारी नहीं होती। लोगों को किसी बिज़नेस या स्टार्टअप वाले प्रोडक्ट की जानकारी तभी होगी जब इसकी मार्केटिंग की जाएगी।

इसलिए मार्केटिंग किसी भी बिज़नेस प्लान का सबसे महत्वपूर्ण कारक माना गया है। खुद से केवल मार्केटिंग करने से भी काम नहीं बनता, इसके लिए शुरूआती समय में बाजार में पहले से स्थापित किसी मार्केटिंग एजेंसी की मदद ली जा सकती है। वर्तमान समय के ट्रेंड को देखते हुए मार्केटिंग के लिए डिजिटल मीडिया का उपयोग अवश्य करें।

अंतिम शब्द

इस लेख के माध्यम से आपने जाना की स्टार्टअप क्या है? साथ ही आपने ये भी जाना की स्टार्टअप की शुरुआत कैसे करें? स्टार्टअप कसे सुरू करावे? इस लेख से सम्बंधित किसी प्रकार का कोई सुझाव, या शिकायत आपके मन में हो तब बेझिझक निचे कमेंट करके हमें अवश्य बताएं, धयवाद।

Leave a Comment